यदि आप चाहते हैं कि अपने जीवनकाल में कभी
आपको पैसे की दिक्कत नहीं हो, तो
आपको सबसे पहला काम फाइनेंशियल प्लानिंग का करना चाहिए। आइए, जानते हैं फाइनेंशियल प्लानिंग के नौ
मंत्र जो लक्ष्य प्राप्ति में मदद करेंगे।
1. रिटर्न के पीछे नहीं भागें
फाइनेंशियल प्लानिंग का पहला मंत्र है कि मोटा
रिटर्न के पीछे नहीं भागें। इससे निवेश पोर्टफोलियो गड़बड़ा जाएगा, क्योंकि आप निवेश के सही समय का
निर्धारण नहीं कर पाएंगे।
2. जल्दबाजी नहीं करें
अगर आप केवल टैक्स सेविंग के लिए निवेश कर रहे
हैं, तो आप एक बड़ी
गलती करते हैं। केवल टैक्स सेविंग के बारे में सोचेंगे तो अनजाने में आप कुछ ऐसे
प्रोडक्ट भी खरीद लेते हैं, जिनकी
आपको कोई जरूरत नहीं होती है।
3. प्रोडक्ट को समझें
अक्सर दोस्त, रिश्तेदार को खुश करने के लिए उनके इन्वेस्टमेंट प्रोडक्ट्स खरीद
लेते हैं, लेकिन
ये आपकी फाइनेंशियल स्थिति को बिगाड़ सकते हैं। अपनी जरूरत के हिसाब से ही
फाइनेंशियल प्रोडक्ट खरीदें।
4. फ्यूचर पर न लें लोन
अक्सर लोग होम लोन, कार लोन, पर्सनल लोन, क्रेडिट
कार्ड इसलिए लेते हैं कि उनके खर्च चलते रहें और आने वाले टाइम में कमाई बढ़ने पर
इसका कर्ज चुका देंगे, लेकिन
यह सही नहीं है। इस तरह लोन लेना फ्यूचर की प्लानिंग को प्रभावित करता है।
5. इच्छाओं पर खर्च करें
बचत के साथ-साथ अपनी इच्छाओं पर भी खर्च कीजिए।
वर्तमान व भविष्य की जरूरतों और इच्छाओं के बीच संतुलन की कला सीखना बहुत जरूरी
है।
6. एक ही में निवेश नहीं
ज्यादातर लोग केवल पब्लिक प्रोविडेंट फंड, पारंपरिक एंडोर्समेंट प्लान, बैंक एफडी में इन्वेस्ट कर डेट पर
आर्शित रह जाते हैं। यह तरीका ठीक नहीं है। अलग एसेट क्लास में निवेश करें।
7. बेवजह न करें इन्वेस्ट
अगर आपके पास अपने इन्वेस्टमेंट का उचित कारण
है या दूसरे शब्दों में कहें तो अगर आप इन्वेस्टमेंट का लक्ष्य तय नहीं करते हैं
तो इस बात की संभावना अधिक रहेगी कि आप जल्दबाजी में बेवजह इन्वेस्ट कर बैठेंगे।
8. बजट बनाकर चलें
अपनी प्लानिंग को बनाए रखने के लिए बजट बनाकर
चलना चाहिए। बजट से आपको खर्च व बचत करने में मदद मिले। यह तय कर लें आपको कितना
हर महीने बचाना है।
9. सलाह से न हिचकें
अगर आप खुद से तय नहीं कर पा रहे हैं कि आपको
कहां और कितना इन्वेस्ट करना चाहिए तो फाइनेंशियल प्लानर की मदद लें। अब
फाइनेंशियल प्लानर्स भी नियमन के दायरे में आ गए हैं।
मार्केट में आई गिरावट की वजह से कई बड़ी-बड़ी
कंपनियों के म्यूचुअल फंड सस्ती दरों पर उपलब्ध हो गए हैं। बहुत सी म्यूचुअल फंड
स्कीम जो कुछ महीने पहले शिखर पर थी, आज अपने उच्चतम शिखर से करीब दस से बीस फीसदी कम मूल्य पर मिल रहे
हैं। बा जार में हाल में आई ताबड़तोड़ गिरावट ने एक तरफ निवेशकों को भारी नुकसान
पहुंचाया है, वहीं
फ्रेश इनवेस्टमेंट के नए रास्ते भी खोले हैं। म्यूचुअल फंड में निवेश के जरिए अपना
भविष्य संवारने की इच्छा रखने वालों के लिए यह एक अच्छा अवसर है। मार्केट में आई
गिरावट की वजह से कई बड़ी-बड़ी कंपनियों के म्यूचुअल फंड सस्ती दरों पर उपलब्ध हो
गए हैं। बहुत सी म्यूचुअल फंड स्कीम जो कुछ महीने पहले शिखर पर थी, आज अपने उच्चतम शिखर से करीब दस से बीस
फीसदी कम मूल्य पर मिल रहे हैं। इस कड़ी में हम आपको ऐसे कुछ म्यूचुअल फंडों के
बारे में बताएंगे, जिनमें
निवेश के सहारे आप मध्यम से लंबी अवधि में फायदा कमा सकते हैं। बिरला सनलाइफ टॉप
100 फंड (जी) में निवेश के अवसर हैं। इस फंड को अच्छे प्रदर्शन के लिए क्रिसिल की
तरफ से टॉप रैंकिंग हासिल हुई है। फिलहाल बिरला सनलाइफ टॉप 100 फंड (जी) 40.52
रुपये की एनएवी पर उपलब्ध है। इस साल तीन मार्च के दिन इसने एक शिखर बनाया था। उस
दिन यह अभी के मूल्य से दस फीसदी से भी अधिक ऊपर था। उस दिन इसकी एनएवी 45 रुपये
32 पैसे थी। अगर एक साल के प्रदर्शन पर नजर डालें तो पांच सितंबर 2014 को इसकी
एनएवी 39 रुपये 3 पैसे थी। यानी एक साल में यह दस फीसदी से ज्यादा रिटर्न दे चुका
है लेकिन फिलहाल बाजार में आई गिरावट के बाद यह अपने एक साल पुराने मूल्य के
आस-पास पहुंच गया है। इस दृष्टि से देखें तो बिरला सनलाइफ टॉप 100 फंड (जी) में
निवेश की संभावना साफ नजर आती है। अगर बाजार बाउंस बैक करता है, जिसकी पूरी संभावना है, तो इसकी एनएवी में भी बड़े उछाल की
उम्मीद की जा सकती है।
इसी क्रम में फ्रैंकलिन इंडिया ऑपचरुनिटीज फंड
(जी) की चर्चा भी की जा सकती है। इस सप्ताहांत पर इसकी एनएवी 53.24 रुपये थी। जबकि
ठीक एक साल पहले इसका मूल्य 48 रुपये 94 पैसे था। यानी एक साल में इस फंड ने दस
फीसदी के आस-पास का रिटर्न दिया है,
जिसे म्यूचुअल फंड के लिहाज से अच्छा कहा जा सकता है। इसकी तुलना में
कई कंपनियों के शेयर एक साल में माइनस रिटर्न देते नजर आते हैं। फ्रैंकलिन इंडिया
ऑपचरुनिटीज फंड (जी) फंड ने तीन मार्च को 60 रुपये 4 पैसे का शिखर छुआ था। लेकिन
यह खुद को उस चोटी पर बनाए नहीं रख सका और अब फिलहाल उस कीमत से करीब दस फीसदी नीचे
दिख रहा है। इस परिप्रेक्ष्य में देखें तो यहां भी निवेश की अच्छी संभावना दिखती
है। इसके अलावा आप कैनरा रोबेको इर्मजिंग इक्विटीज (जी) फंड को भी अपने म्यूचुअल
फंड के पोर्टफोलियो में शामिल कर सकते हैं। शुक्रवार को बाजार बंद होने के बाद
इसकी एनएवी 57 रुपये 39 पैसे थी। इस स्तर से इसमें दस से बीस फीसदी की बढ़ोतरी की
उम्मीद की जा सकती है। अगर इसके प्रदर्शन पर नजर डालें तो ठीक एक वर्ष पहले 5
सितंबर 2014 को इसकी एनएवी 48 रुपये 38 पैसे थी। यानी एक साल में इसने करीब 48
रुपए के निवेश पर 9 रुपये का रिटर्न दिया है जो हर तरह से शानदार कहा जा सकता है।
कैनरा रोबेको इर्मजिंग इक्विटीज (जी) फंड के प्रदर्शन की तुलना आप शेयर बाजार के
किसी बढ़िया स्टॉक से कर सकते हैं। निवेश के परंपरागत माध्यम जैसे फिक्स्ड डिपॉजिट
वगैरह में तो एक साल में इस तरह के बंपर रिटर्न की बात सोची भी नहीं जा सकती है।
लेकिन बात यहीं खत्म नहीं होती है। कैनरा रोबेको इर्मजिंग इक्विटीज (जी) फंड ने
कुछ हफ्ते पहले बड़ा शिखर बनाया था। इसकी एनएवी 65 रुपये के करीब पहुंच गई थी। अगर
इसे प्रदर्शन के मूल्यांकन का आधार बनाया जाए तो इस म्यूचुअल फंड के रिटर्न को
बंपर कहा जा सकता है। हालांकि फिलहाल यह अपने उच्चतम मूल्य से काफी कम भाव पर
उपलब्ध है। आप इसमें भी निवेश की संभावना तलाश सकते हैं। हम यहां यह बात स्पष्ट कर
दें कि जिन म्यूचुअल फंडों का जिक्र ऊपर किया गया है, वह सिर्फ एक उदाहरण मात्र हैं।
म्यूचुअल फंड मार्केट में इस तरह के और भी अच्छे विकल्प मौजूद हैं, आप उनमें भी निवेश कर सकते हैं। यहां
जिन फंडों की की चर्चा की गई है,
उसका उद्देश्य उदाहरण प्रस्तुत कर निवेश की संभावनाओं को स्पष्ट करना
है। इसका अर्थ यह नहीं है कि हम इन फंडों में निवेश की अनुशंसा कर रहे हैं। आप
इनमें निवेश कर सकते हैं लेकिन इसके लिए आप अपने स्तर पर सोच विचार कर ही फैसला
लें, किसी के कहने से
नहीं। यह भी ध्यान में रखें कि म्यूचुअल फंड बाजार के जोखिमों से जुड़े हैं।